सरकार जनता के द्वार के तहत सचिव वित्त, निर्वाचन दिलीप जावलकर ने अपने दो दिनी जनपद भ्रमण के दौरान ग्राम देवलचौरा में सरकार द्वारा संचालित योजनाओं को निरीक्षण करते हुए जन संवाद किया। साथ ही विभागीय अधिकारीयो के साथ समीक्षा बैठक कर आवश्यक निर्देश दिए।
देवलचौरा में निरीक्षण के दौरान सचिव ने उद्यान विभाग के माध्यम से आन सिंह नगरकोटी द्वारा लगाये गये पॉलीहाउस व जल जीवन मिशन के अंतर्गत देवलचौरा पेयजल पंपिंग योजना एवं अमृत सरोवर का निरीक्षण किया। इससे पहले कल साय उनके द्वारा जोलकांडे में रात्रि विश्राम किया गया।
सचिव ने जल जीवन मिशन के अंतर्गत 9.54 करोड की लागत निर्माणाधीन देवलचौरा पेयजल पंपिंग योजना का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान अधि0अभि0 पेयजल निगम द्वारा बताया गया कि पंपिंग योजना से 11 गांवों के लगभ 4 हजार आबादी लाभान्वित होगी। सचिव ने ईई को पेयजल योजना तय समय के भीतर पूर्ण करने के साथ ही कार्य गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए। उन्होंने उद्यान विभाग के माध्यम से देवलचौरा में आन सिंह नगरकोटी द्वारा पॉलीहाउस लगाकर सब्जी उत्पादन की सराहना करते हुए कहा कि काश्तकार अधिक से अधिक पॉलीहाउस लगाकर अपनी आर्थिकी मजबूत करें। ब्लॉक द्वारा मनरेगा के अंतर्गत देवलचौरा में निर्मित अमृत सरोवर का निरीक्षण करते हुए उन्होंने सरोवर में समूह के माध्यम से मत्स्य पालन को बढावा देने के निर्देश दिए। सरकार जनता के द्वार के तहत क्षेत्र में जाकर योजनाओं का क्रियान्वयन एवं जनता से वार्ता कर उनकी आवश्यकताओं एवं समस्याओं का जायजा लेने सचिव देवलचौरा पहुंचे। जहां उन्होंने विद्यालय में क्षेत्रीय जनता से संवाद किया। ग्राम प्रधान ने अवगत कराया कि ग्राम पंचायत में मनेरगा के माध्यम से 4 गौशाला, शौचालय, सीसी मार्ग व भूमि सुधार कार्य किए जा रहे है। उन्होंने मुख्य सडक मार्ग से चिनौली राजस्व गांव तक सड़क बनाने, देवलचौरा में खेल मैदान, मंडी समिति खोलने तथा गांव में चैकबंधी बनाने की मांग रखी। सचिव ने ग्राम वासियों से वार्ता करते हुए वहां के विद्यालयों, खेतीबाडी, सब्जी उत्पादन, मनरेगा, सिंचाई, पॉलीहाउस संबंधी जानकारियां ली। जनता द्वारा बताया गया कि देवलचौरा में राजकीय प्राथमिक विद्यालय है, जिसमें 18 बच्चे है, हाईस्कूल में 115 बच्चे तथा शिशु मंदिर में 40 बच्चे एवं एक अन्य निजी विद्यालय में 85 बच्चे पढते है। सचिव ने शिक्षा की गुणवत्ता की जानकारियां लेते हुए नई शिक्षा निति की जानकारियां दी। उन्होंने क्षेत्र में जैविक खेती व सब्जी उत्पादन को बढावा देने के साथ ही काश्तकारों के जैविक प्रमाण पत्र बनाने के निर्देश कृषि एवं उद्यान विभाग को दिए व उनके उत्पादों के विपरण की व्यवस्था करने के भी निर्देश दिए। सचिव ने कहा कि इस वित्त्तीय वर्ष में प्रदेश को आंगनबाडी एवं पॉलीहाउस से पूर्ण आच्छादित करने का लक्ष्य रखा गया है, इसलिए अधिकारी इस दिशा आगे बढते हुए त्वरित कार्य करें। सचिव ने विभागों द्वारा लगाये गये स्टॉलों का निरीक्षण करते हुए विस्तृत जानकारियां ली।
वही विकास भवन सभागार में 4 बजे से विभागीय अधिकारियों के साथ विकास कार्यों के लिए एक समीक्षा बैठक की गई। जिसमे आवश्यक दिशा निर्देश देते हुए कार्यों में तेजी लाने को कहा।
उन्होंने कहा की शासन की मंशा है कि विकेंद्रीकृत योजनाओं पर विशेष ध्यान दिया जाय, साथ ही योजनायें क्षेत्र की आवश्यकताओं को देखते हुए स्थानीय स्तर पर बनायी जाए तथा उन्हें धरातल पर उतारा जाय, इस हेतु शीघ्रता से धन आवंटन भी किया जाय। उन्होंने भारत सरकार व राज्य सरकार के ध्वज वाहक योजनाओं की विस्तृत समीक्षा करते हुए समय से पूर्ण करने के निर्देश दिए, साथ ही कहा योजनाओं में प्राप्त धनराशि को व्यय करते हुए उपयोगिता प्रमाण पत्र समय से देने के निर्देश दिए,ताकि अग्रिम धनराशि शीघ्रता से आंवटित हो सके।
सचिव ने जल जीवन मिशन की समीक्षा करते हुए कार्य में तेजी लाने के निर्देश पेयजल निगम को दिए। नोडल ईई पेयजल निगम ने बताया कि जनपद में द्वितीय चरण में 421 योजनायें स्वीकृत है, जिमसें से 397 योजनाओं के टैंडर कर ठेकेदारों से अनुबंध कर कार्य प्रारंभ कर दिए गए है, जबकि 14 योनजाओं के टैंडर कर लिए गए है व अनुबंध होना बाकी है, तथा 10 पर टैंडर शीघ्र किए जाएंगे।
उन्होंने प्रधानमंत्री आवास, एनआरएलएम, राष्ट्रीय पोषण अभियान, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, बेटी बचाओ-बेटी पढाओ, नंदा गौरा योजना, मुख्यमंत्री महिला बाल पोषण योजना, मुख्यमंत्री महालक्ष्मी किट योजना, एनआरएचएम, पीएम कौशल विकास योजना, मिलेट मिशन, गोट वैली, पीएम जीवन ज्योति योजना, पीएम सुरक्षा बीमा योजना, आरबीएसके, केसीसी, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, सिंचाई योजना, मनरेगा, पीएमजीएसवाई, जिला योजना, राज्य वित्त आदि की विस्तृत समीक्षा की। सचिव ने सभी अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे जन कल्याणकारी योजनाओं का लाभ आम जनमानस को देने के साथ ही कार्यो में गुणवत्ता व सययबद्धता पर विशेष ध्यान दें। उन्होंने किसानों के स्थानीय उत्पादों को विपरण की व्यवस्था कराने के निर्देश भी अधिकारियों को दिए। उन्होंने कहा कि फल, सब्जी एवं अन्य उत्पाद को बढाने की जरूरत बताते हुए कलस्टर को विकसित करने के निर्देश दिए।
जिलाधिकारी अनुराधा पाल ने सचिव को चिकित्सा विभाग का ट्रांजिट भवन धनराशि लंबित होने, बागेश्वर सीवरेज योजना की डीपीआर व ट्रचिंग ग्राउंड की डीपीआर शासन में लंबित होने की बात बतायी। उन्होंने कहा कि बागेश्वर में सर्किट हाउस का प्रथम चरण का प्रस्ताव 30.48 लाख, वन स्टॉप सेंटर की भारत सरकार की धनराशि लंबित होना बताया।
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी आरसी तिवारी, परियोजना निदेशक शिल्पी पंत, मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ डीपी जोशी, मुख्य शिक्षा अधिकारी जीएस सौन, जिला उद्यान अधिकारी आरके सिंह, जिला पूर्ति अधिकारी मनोज बर्मन, महाप्रबंधक उद्योग जीपी दुर्गापाल, मत्स्य अधिकारी मनोज मियान, सहायक निदेशक दुग्ध अनुराग मिश्रा, मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डॉ आर चन्द्रा, जिला कार्यक्रम अधिकरी अनुलेखा बिष्ट, अधि0अभि0 सिंचाई केके जोशी, जल संस्थान सीएस देवडी, पेयजल निगम वीके रवि, लघु सिंचाई विमल सुमटा, विद्युत मुहम्मद अफजाल समेत अन्य अधिकारी मौजूद थे।