बागेश्वर। बैंक से ऋण लेकर चुकता नहीं करने वालों के खिलाफ इंडियन ओवरसीज बैंक की शाखा ने कार्रवाई की। बैंक अधिकारियों ने पुलिस प्रशासन की मौजूदगी में बकायेदार का मकान खाली कराया। घर खाली कराते समय गृह स्वामी और उनकी पत्नी घर पर नहीं थे। उनकी अकेली लड़की घर में मौजूद थी। शाम के समय बेटी को बेघर करने पर नाराजगी जताते हुए कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री ने विरोध किया। इस दौरान काफी देर तक गहमागहमी चलती रही। हालांकि बैंक और पुलिस ने आखिरकार घर खाली करवा ही लिया। वहीं प्रबंधक ने बताया कि लड़की अपने रिश्तेदार के घर चले गई है।
सोमवार की शाम को देहरादून से आए बहादुर सिंह मर्तोलिया और इंडियन ओवरसीज बैंक के प्रबंधक कुलदीप मेहरा पुलिस और राजस्व पुलिस की टीम के साथ मजियाखेत के मजियाखेत निवासी भूपाल सिंह परिहार के घर गई। प्रबंधक ने बताया कि मकान मालिक को पूर्व में नोटिस दिया गया था। मकान मालिक ने वर्ष 2013-14 में करीब साढ़े 10 लाख रुपये का ऋण लिया था, लेकिन चुकाया नहीं। अब लोन की रकम ब्याज सहित 15 लाख रुपये हो गई है। ऋण लेते समय उन्होंने अपने मजियाखेत के मकान को बंधक रखा था। ऋण चुकता नहीं होने पर मकान खाली कराया जा रहा है।
वही कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री बालकृष्ण का कहना था कि बैंक की कार्रवाई का वह विरोध नहीं कर रहे है, लेकिन जिस तरह से अकेली लड़की को रात के समय बेघर किया जा रहा है, वह उसके खिलाफ हैं। कहा कि बैंक सुबह के समय भी घर खाली करवा सकती है। रात के समय मकान का सामान बाहर फेंका जा रहा है। मकान मालिक और उनकी पत्नी की गैर मौजूदगी में मकान खाली कराया जा रहा है। हालांकि पुलिस कर्मियों का कहना था कि वह बेटी को बेघर नहीं कर रहे हैं। उनके साथ महिला पुलिस भी है, लड़की को अपने साथ ले जाएंगे। काफी देर तक हंगामा चलता रहा। देर शाम मकान का सामान बाहर कर बैंक ने मकान में सील कर दिया।
इधर, कोतवाल जगदीश सिंह ढकरियाल ने कहा कि मकान खाली कराने के लिए बैंक ने पुलिस फोर्स मांगी थी। एसपी के आदेश पर जवानों को घर खाली कराने भेजा गया। वहां चल रहे विरोध बैंक और कांग्रेस के प्रदेश महामंत्री के बीच का मामला है। पुलिस केवल अपना काम कर रही है।